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वेलफेयर डिपार्टमेंट का कार्य देने से महिला एवं बाल विकास विभाग के मुख्य उदेश्य होंगे प्रभावित*

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*वेलफेयर डिपार्टमेंट का कार्य देने से महिला एवं बाल विकास विभाग के मुख्य उदेश्य होंगे प्रभावित*   *जब काम ही आंगनवाड़ी वर्कर ने करना है तहसील कल्याण अधिकारी के पद  का नहीं है कोई औचित्य* *आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं के हितों का हो संरक्षण* *Press note:----* आंगनवाड़ी वर्करज एवं हेल्परज यूनियन संबंधित सीटू की राज्य अध्यक्ष नीलम जसवाल और वीना शर्मा ने जारी एक प्रेस ब्यान में कहा की महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं पर वेलफेयर विभाग का काम थोपने का निर्णय अत्यधिक चिंताजनक है।  कार्यकर्ताओं से अतिरिक्त काम करवाना न केवल अन्यायपूर्ण है, बल्कि इससे बाल विकास विभाग के कार्यों पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा। वीना  शर्मा , नीलम जसवाल  ने बताया की  आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का मुख्य कार्य बच्चों और गर्भवती महिलाओं के स्वास्थ्य और पोषण की देखभाल करना है, न कि वेलफेयर विभाग के कार्यों को संभालना। यदि वेलफेयर विभाग का कार्य भी आंगनवाड़ी कार्यकर्ता ने ही करना है  तो तहसील कल्याण अधिकारी के पद  का क्या औचित्य और वेलफेयर डिपार्टमेंट का क्या कार्य रह जाता...

दलितों में बढ़ रही चेतना और शोषण के खिलाफ उठ रहे स्वरों को दबाने का एक मात्र प्रयास था जिन्दान हत्याकांड:-- आशीष कुमार

हिमाचल प्रदेश के जिला सिरमौर के शिलाई विधानसभा क्षेत्र में 7 सितम्बर 2018 को घटित बहुचर्चित केदार सिंह जिंदान हत्याकांड में  विशेष न्यायाधीश सिरमौर आरके चौधरी की अदालत ने तीन दोषियों को सजा सुना दी है। तीन साल पहले आरटीआई एक्टिविस्ट केदार सिंह जिंदान को तथाकथित उच्च जाति के दबंगों ने सिरमौर जिला के बकरास गांव में क्रूरता के साथ पीट-पीट कर मार डाला था और सबूत को छुपाने के लिए उसको एक्सीडेंट में तब्दील करने कर उद्देश्य से जिन्दान की गर्दन वाले भाग को 3 से 4 बार गाड़ी से इस तरह रौंद दिया जिससे एक तो ये संदेश देने की कोशिश  की गई की घटना एक दुर्घटना थी ,और संदेश साफ साफ था कि यदि किसी दलित व्यक्ति ने  तथाकथित उच्च जाति के लोगों के खिलाफ बोलने की।कोशिश की तो उसका हश्र ये होगा, यह मात्र  केवल जातीगत हिंसा या  उत्पीड़न का मामला नहीं था बल्कि ये  मामला दलितों में बढ़ती चेतना  और शोषन के खिलाफ उठ रहे दलित वर्ग की आवाज को कुचलने का एक मात्र प्रयास था,   26 नवम्बर 2021 को चाहे इसे संयोग कहे जब दलित शोषन मुक्ति मंच संविधान दिवस के मौके पर संविधान दिवस मना...